शंकर ने तमिलनाडु के लिए प्रथम श्रेणी क्रिकेट में शानदार प्रदर्शन किया है, जिससे उन्हें आईपीएल में चेन्नई सुपर किंग्स और सनराइजर्स हैदराबाद जैसी टीमों के लिए खेलने का मौका मिला। आईपीएल में उनके प्रदर्शन ने उन्हें राष्ट्रीय चयनकर्ताओं की नज़र में ला दिया और उन्हें भारत के लिए खेलने का मौका मिला। हालांकि, राष्ट्रीय टीम में उनका प्रदर्शन उम्मीद के मुताबिक नहीं रहा है और उन्हें टीम से अंदर-बाहर होते रहना पड़ा है।

विजय शंकर की सबसे बड़ी खासियत उनकी ऑलराउंड क्षमता है। वह मध्यक्रम में एक विस्फोटक बल्लेबाज हैं और अपनी ऑफ स्पिन गेंदबाजी से विकेट लेने की क्षमता भी रखते हैं। यह उन्हें टीम के लिए एक मूल्यवान संपत्ति बनाता है, खासकर सीमित ओवरों के क्रिकेट में।

हालांकि, उनकी बल्लेबाजी और गेंदबाजी में निरंतरता की कमी उनके करियर की सबसे बड़ी चुनौती रही है। उनके पास प्रतिभा की कोई कमी नहीं है, लेकिन उन्हें अपने खेल में और अधिक स्थिरता लाने की जरूरत है ताकि वह राष्ट्रीय टीम में अपनी जगह पक्की कर सकें।

विजय शंकर अभी भी युवा हैं और उनके पास आगे बढ़ने की काफी गुंजाइश है। अगर वह अपनी फिटनेस पर ध्यान दें और अपने खेल में निरंतरता लाएं तो वह भारतीय टीम के लिए एक महत्वपूर्ण खिलाड़ी बन सकते हैं। उनकी मेहनत और लगन देखते हुए, यह कहना गलत नहीं होगा कि विजय शंकर का भविष्य उज्जवल है।

उनके प्रशंसकों को उनसे बड़ी उम्मीदें हैं और वे उनके लिए लगातार दुआएं करते रहते हैं। उनके खेल में सुधार और निरंतरता देखकर लगता है कि वह जल्द ही भारतीय टीम में अपनी जगह पक्की कर लेंगे। भविष्य में, विजय शंकर भारतीय क्रिकेट टीम के लिए एक महत्वपूर्ण योगदान दे सकते हैं और देश का नाम रोशन कर सकते हैं।

हमें उम्मीद है कि विजय शंकर अपनी क्षमता को पूरी तरह से निखारेंगे और भारतीय क्रिकेट के लिए एक अमूल्य खिलाड़ी साबित होंगे। उनके प्रशंसक उनके अगले मैच का बेसब्री से इंतजार कर रहे हैं।